Thursday, July 31, 2014

विधानसभा के दो मौजूदा विधायक कतार में

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से ऐन पहले शिवसेना में शामिल होने के इच्छुक राजनेताओं का रेला बढ़ता जा रहा है। विधानसभा के दो मौजूदा विधायक कतार में बताए जाते हैं। सूत्रों के अनुसार, इनमें एक राज ठाकरे की पार्टी एमएनएस और एक कांग्रेस का है। एमएनएस का विधायक मुंबई-ठाणे इलाके है और कांग्रेस विधायक विदर्भ का वरिष्ठ विधायक है।
चर्चा है कि शिवसेना में शामिल होने का प्रस्ताव इन विधायकों की ओर से आया है। वैसे, माना जाता है कि शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने अपने निष्ठावान कार्यकर्ताओं के दावे ठुकराकर 'बाहरी' उम्मीदवार शिवसेना में 'इम्पोर्ट' करने के खिलाफ हैं। मगर मुंबई-ठाणे इलाके में एमएनएस और विदर्भ इलाके में कांग्रेस को झटका देने का मौका पार्टी छोड़ना नहीं चाहती।
अगले एक-दो दिनों में दोनों विधायकों की 'मातोश्री' बंगले में शिवसेना अध्यक्ष से मुलाकात के साथ ही उनका शिवसेना प्रवेश घोषित कर दिया जाएगा।
इधर, सांगली जिले से खानापुर सीट के पूर्व विधायक अनिल बाबर ने शिवसेना में काम करने की इच्छा व्यक्त की है। शिवसेना भवन में उन्होंने उद्धव ठाकरे से मुलाकात की। शिवसेना नेता सुभाष देसाई, नीलम गोरहे और अनिल देसाई मौजूद थे।

Monday, July 28, 2014

(आरएफक्यू) भरने की तारीख को 2 सितंबर तक

नवी मुंबई में बनाए जाने वाले नए एयरपोर्ट के लिए पात्रता के लिए आग्रह (आरएफक्यू) भरने की तारीख को 2 सितंबर तक बढ़ा दिया गया है। नागरिक उड्  डयन मंत्रालय ने सिडको के आग्रह पर यह फैसला किया है। सिडको इस प्रॉजेक्ट की नोडल एजेंसी है। पिछले सप्ताह सिडको ने नागरिक उड्  डयन मंत्री अशोक गजपति राजू को संशोधित निविदा दस्तावेज सौंपा था जिसे तत्काल मंजूरी दे दी गई। 18 जून के बाद टेंडर की तारीख दो बार बढ़ाई जा चुकी है। सिडको के वाइस चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक संजय भाटिया ने के मुताबिक टेंडर भरने वालों ने मौजूदा दस्तावेज में कुछ बदलाव का आग्रह किया था। हमने इसमें संशोधन किया है और मंत्रालय ने इसको मंजूर कर लिया है। संशोधित टेंडर के अनुसार कंपनियों के लिए अब आरएफक्यू जमा कराने को एक माह का अधिक यानी 2 सितंबर तक का समय होगा। 

Thursday, July 24, 2014

कमिश्नर बिपिन मलिक की जांच कराने की मांग

शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने दिल्ली के 'महाराष्ट्र सदन' और इसके कमिश्नर बिपिन मलिक की जांच कराने की मांग की है। वे गुरुवार को नासिक दौरे के समय पत्रकारों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने स्पष्ट किया है कि किसी कर्मचारी को रोजे के दौरान जबरन रोटी खिलाने का उनके पार्टी सांसदों का कोई इरादा नहीं था। विरोधी पार्टियां मामले को तूल देकर राजनीतिक रंग देने की कोशिश कर रही हैं। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि विरोधियों को याद रखना चाहिए कि उनका मुकाबला शिवसेना से है।
उद्धव ने कहा कि बीजेपी सांसद किरीट सोमैया ने कागजात पेश करते हुए दिल्ली के महाराष्ट्र सदन के निर्माण के दौरान हुई धांधली का पर्दाफाश किया है। इसलिए निर्माण के समय से लेकर आजतक दिए गए सभी ठेकों की जांच होनी चाहिए, ताकि सच बाहर आ सके। उन्होंने मराठी कलाकारों को सदन में कमरे न मिलने का मामला भी उठाया। शिवसेना अध्यक्ष ने टिप्पणी की है कि अगर ऐसा है तो 'महाराष्ट्र सदन' का नाम बदलकर 'लॉजिंग-बोर्डिंग' कर देना चाहिए।
औरंगाबाद में बुधवार को ठाकरे ने कहा था कि शिवसेना इतनी गिरी हुई हरकत नहीं कर सकती। जो करना होता है हम सीधे-सीधे और खुले तौर पर करते हैं। हम हिंदू हैं, हिंदुत्ववादी हैं, लेकिन अन्य धर्मों से हम द्वेष नहीं करते। गुरुवार को शिवसेना इस मुद्दे पर आक्रामक नजर आई। पार्टी मुखपत्र 'सामना' के संपादकीय में लिखा गया, 'शिवसेना सभी जाति-धर्म का सम्मान करती है, यही हमारा संस्कार है। जब तक कोई अपने धर्म का फालतू दिखावा नहीं करता तब तक हमें उससे कुछ भी लेना-देना नहीं। श्रद्धा का विषय व्यक्तिगत है, लेकिन उसका इस तरह राजनीतिक व्यापारीकरण कर शिवसेना को बदनाम करने की कोशिश की जाएगी, तो याद रखो मुकाबला हमसे है!'

संपादकीय में आगे कहा गया, 'लोकसभा चुनाव के दौरान इन्हीं राजनीतिज्ञों पर राज्य की मराठी जनता ने थूका है, फिर भी इन्हें न तो लाज है और न ही शर्म। आज जो कोई अपने लफड़े को छिपाने के लिए नए महाराष्ट्र सदन में धर्म की राजनीति कर रहा है, उन्हें हम एक ही आखिरी चेतावनी देते हैं। कल महाराष्ट्र में सत्तासीन शिवसेना होगी इस बात को वे न भूलें!'

Wednesday, July 23, 2014

अच्छी बारिश ने जलस्तर बढ़ा दिया

मुंबई से भले ही बारिश ने कुछ वक्त के लिए दूरी बना ली हो, लेकिन झीलों के परिसर में हो रही अच्छी बारिश ने जलस्तर बढ़ा दिया है। मुंबईकरों को पानी देनेवाली झीलों में पिछले एक हफ्ते से हुई अच्छी बारिश की वजह से अतिरिक्त 25 दिन का पानी इकट्ठा हो गया है।
22 जुलाई सुबह 6 बजे तक सभी छह झीलों में 2,51,920 मिलियन लीटर पानी है। पिछले 24 घंटे में तानासा में 71.60 एमएम, विहार में 16.20 एमएम, भातसा में 32 एमएम, अपर वैतरणा में 30 एमएम, तुलसी में 2 एमएम और मोडक सागर में 84.20 एमएम बारिश हुई है। जून में मुंबईकरों को तो बारिश का तोहफा मिला लेकिन झीलें बूंद-बूंद के लिए तरस गई थी।
जून के आखिरी हफ्ते में तो झीलों में पानी की मात्रा 90,000 मिलियन लीटर पहुंच गई थी। कम बारिश के चलते मुंबई में इस वक्त 20 फीसदी पानी कटौती चल रही है। इसके अलावा फाइव स्टार होटेल, मॉल्स, कारखाने आदि में 50 फीसदी पानी कटौती की गई है। पिछले साल इस वक्त झीलों में 10,32,662 मिलियन लीटर पानी जमा था।

Sunday, July 20, 2014

उरण स्थित (SEZ) बनाने की हरी झंडी

केंद्र सरकार ने देश के पहले पोर्ट आधारित स्पेशल इकॉनमी जोन (SEZ) बनाने की हरी झंडी मिल गई है। केंद्र सरकार की इस पहल से उरण स्थित जेएनपीटी पोर्ट आधारित विशेष आर्थिक क्षेत्र (सेज) की योजना में जान आ गई है।
अगर सबकुछ योजना के अनुसार हुआ तो यह देश का पहला बंदरगाह होगा जो पोर्ट व्यवसाय के सहायक के रूप में पांच सितारा सुविधाओं के साथ उपलब्ध होगा। इसका निर्माण दो चरणों में होगा। इस पर करीब 7000 करोड़ रुपये की लागत आएगी। मिली जानकारी के अनुसार इसके प्रथम चरण के निर्माण में 3000 करोड़ रुपये व दूसरे चरण के निर्माण में 4000 करोड़ रुपये का खर्च आएगा।
बता दें कि इस महत्वाकांक्षी योजना को साल 2011 में तत्कालीन अध्यक्ष एल. राधाकृष्णन ने तैयार किया था। इससे करीब 36 हजार नए लोगों को सीधे व 18 हजार लोगों को परोक्ष रोजगार मिलने की उम्मीद जताई गई है।

Friday, July 18, 2014

स्थानीय वाहनचालकों को इस नए टोलनाके से मुक्ति देने के लिए

खारघर टोलनाके के खिलाफ पनवेल समेत रायगड के स्थानीय निवासियों में बढ़ते भारी आक्रोश को देखते हुए तथा राज्य के उपमुख्यमंत्री अजित पवार द्वारा विरोध किए जाने के बाद अब पीडब्लयूडी भी हरकत में आ गई है। इस बारे में PWD द्वारा पनवेल और पेण आरटीओ से उनके रेकॉर्ड में चार पहिए वाले पंजीकृत वाहनों की सूची मांगी गई है।
सूत्रों के अनुसार पनवेल आरटीओ क्षेत्र में करीब ढाई लाख और पेण आरटीओ क्षेत्र में करीब चार लाख से सवा चार लाख वाहनों का पंजीकरण हुआ है। हालांकि, खारघर टोलनाके से पनवेल के स्थानीय वाहन चालकों को राहत देने के बारे में कोई कुछ भी बोलने के लिए तैयार नहीं हैं, पर पनवेल के स्थानीय विधायक प्रशांत ठाकुर ने उम्मीद जताई है कि पीडब्लयूडी का यह कदम स्थानीय वाहनचालकों को इस नए टोलनाके से मुक्ति देने के लिए ही उठाया गया होगा।
अभी खुद मुख्यमंत्री द्वारा इस टोलनाके से स्थानीय लोगों को छूट देने की संभावना तलाशने के लिए एक महीने के लिए इसे स्थगित किया गया है। अब पीडब्लयूडी द्वारा रायगड जिले के पनवेल और पेण आरटीओ से मंगाए गए वाहनों की संख्या व अन्य विवरण से पनवेल के निवासियों की उम्मीद जग गई है।

Wednesday, July 16, 2014

गड्ढे और नालों की सफाई के बारे में जनता को भ्रमित किया

मुंबईकरों की सवारी भले ही गड्ढों के बीच से गुजर रही है लेकिन बीएमसी प्रशासन मुंबई की सड़कों पर नाममात्र के गड्ढे होने का दावा कर रही है। प्रशासन का कहना है कि पिछले साल की तुलना में इस साल बेहद कम गड्ढे हुए हैं। हालांकि, प्रशासन के इस दावे की विपक्ष ने हवा निकाल दी।
सभागृह की बैठक में कांग्रेस, एनसीपी ने सत्तापक्ष को घेर लिया। इसके अलावा पानी की कमी से हो रही समस्या पर भी विपक्ष ने जमकर हंगामा किया। कांग्रेस नगरसेवक देवेंद्र आंबेरकर ने सभागृह में निवेदन कर पानी की समस्या, गड्ढे और नालों की सफाई के बारे में जनता को भ्रमित किया है। आंबेरकर ने कहा कि 2009 में कुओं की सफाई और खुदाई पर 48 करोड़ रुपये खर्च किए गए लेकिन 2010 में अच्छी बारिश के बाद जस का तस छोड़ दिया।

आंबेरकर ने सड़कों की दुर्दशा के बारे में सवाल उठाया। इस पर अडिशनल म्यूनिसिपल कमिश्नर संजय देशमुख ने बताया कि सिर्फ छोटे रास्तों पर ही गड्ढे हैं। बड़े रास्तों पर गड्ढे ही नहीं हैं। देशमुख ने कहा कि इस साल अब तक सिर्फ 9800 गड्ढे हुए हैं।

Monday, July 14, 2014

अशोक चव्हाण की मुश्किल बढी

महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण की मुश्किल बढ़ गई है। इलेक्शन कमिशन ने पेड न्यूज केस में कानून के मुताबिक अपने चुनावी खर्च की जानकारी देने में नाकाम रहने पर चव्हाण को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। इलेक्शन कमिशन ने उनसे पूछा है कि क्यों न उन्हें अयोग्य घोषित कर दिया जाए। चव्हाण को नोटिस का जवाब देने के लिए 20 दिन का वक्त देते हुए आयोग ने कहा कि वह 'जनप्रतिनिधित्व कानून एवं नियमों के मुताबिक चुनावी खर्च के हिसाब की जानकारी देने में नाकाम रहे हैं।' 
सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों पर इलेक्शन कमिशन ने मई में चव्हाण को एक नोटिस जारी किया था ताकि वह 2009 के महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों के दौरान अपने कथित चुनावी खर्चों से जुड़े मामले में कमिशन के सामने पेश हों। इलेक्शन कमिशन ने उन खर्चों को 'पेड न्यूज' का मामला माना था। 
अगर इलेक्शन कमिशन द्वारा चव्हाण को अयोग्य घोषित कर दिया जाता है तो उनकी मौजूदा लोकसभा सदस्यता पर असर पड़ सकता है, जबकि यह मामला विधानसभा चुनावों में उनके चुनाव लड़ने से जुड़ा हुआ है। इलेक्शन कमिशन के आदेश में कहा गया है कि जनप्रतिनिधित्व कानून की धारा 10 के तहत कमिशन द्वारा अयोग्य घोषित किया जाने वाला कोई उम्मीदवार अगले तीन साल तक न तो संसद के किसी सदन और न ही राज्य विधानमंडल के लिए कोई चुनाव लड़ सकता है। 

Thursday, July 10, 2014

अबू आसिम आजमी कांग्रेस-एनसीपी के साथ मिलकर विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए तैयार

लोकसभा चुनाव में मात खाए राजनीतिक दल आगामी विधानसभा चुनाव में एक छतरी के नीचे चुनाव लड़ने की पहल शुरू कर दी है। हारी हुई राजनीति पार्टीयों को इस बार का पूरी तरह से अहसास हो गया है कि अलग-अलग चुनाव लड़ने की स्थित में उन सभी को भारी कीमत चुकानी पड़ सकती है। इस स्थित से निपटने के लिए कांग्रेस, एनसीपी सहित समाजवादी पार्टी माहौल टटोल रही है।
समाजवादी पार्टी राज्य प्रमुख अबू आसिम आजमी का कहना है कि वह कांग्रेस-एनसीपी के साथ मिलकर विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए तैयार है। बशर्ते, उन्हें पूरा सम्मान मिले। उन्होंने साफ किया कि सेक्युलर दल एक प्लैटफॉर्म पर आकर चुनाव लड़े, यह वक्त का तकाजा है, वर्ना वोटों के बंटवारे से सभी सेक्युलर दल को नुकसान होगा। आजमी ने बिहार का उदाहरण देते हुए कहा कि जब 20-25 साल बाद लालू प्रसाद यादव और नीतीश कुमार मिल सकते हैं, तो महाराष्ट्र में सभी सेक्युलर दल एक साथ एक जगह पर क्यों नहीं आ सकते। राज ठाकरे की एमएनएस को आजमी ने सेक्युलर पार्टी मानने से ही इनकार किया। आजमी ने साफ किया कि राज ठाकरे की पार्टी जिस किसी गठबंधन में शामिल होगी, उस गठबंधन दल के साथ समाजवादी पार्टी कभी नहीं जाएगी।
गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव में कांग्रेस-एनसीपी की बत्ती गुल हो गई है। यहीं नहीं, प्रदेश में समाजवादी पार्टी के मुखिया अबू आजमी का बेटा फरहान भी बुरी तरह से लोकसभा चुनाव हार गया था। पार्टी के दूसरे उम्मीदवारों का भी यही हाल रहा रहा। कांग्रेस-एनसीपी और समाजवादी पार्टी अब तक लोकसभा के चुनाव नतीजों को भूल नहीं सके है। इन्हें डर है कि विधानसभा चुनावों में भी वे लोग एक दूसरे की टांग खींचते रहे, तो राज्य से भी उन्हे बोरिया-बिस्तर समेटना पड़ सकता है। एक विचारधारा वाली पार्टियों को एक साथ लाने के लिए कांग्रेस की ओर से मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने खुद ही कमान संभाल ली है। आजमी के साथ उनकी बैठक भी हो चुकी है।
 

Tuesday, July 8, 2014

जनता के हित' वाली नई ऑक्ट्राय पॉलिसी की घोषणा

महाराष्ट्र सरकार ने ऐन चुनाव से पहले 'जनता के हित' वाली नई ऑक्ट्राय पॉलिसी की घोषणा कर दी है। नई पॉलिसी चूंकि आने वाले सड़क निर्माणों पर ही लागू होगी, इसलिए मौजूदा सरकार के कार्यकाल में इसके लागू होने की संभावना कम ही है। अक्टूबर महीने में कांग्रेस-एनसीपी राज्य सरकार का पांच साल का कार्यकाल खत्म हो रहा है।
राज्य मंत्रिमंडल ने सोमवार रात यह तय किया कि 200 करोड़ रुपए से कम लागत वाली सड़क परियोजनाओं के लिए 'प्राइवेटाइजेशन' का उपयोग नहीं किया जाएगा। इसका मतलब छोटी सड़कों पर ऑक्ट्राय का झंझट ही खत्म हो जाएगा। इसके अलावा, यह भी निर्धारित कर दिया गया है कि लागत से डेढ़ गुना से ज्यादा ऑक्ट्राय वसूला नहीं जा सकेगा। घुमादार रास्तों के लिए डेढ़ गुना, हाइवे के लिए सवा गुना लागत वसूली जा सकेगी।
सड़क को चौड़ा करके छह लेन करने पर लागत से 75 प्रतिशत अधिक और चार लेन करने पर 60 प्रतिशत राशि अधिक राशि वसूल की जा सकेगी। गौरतलब है कि यह शर्तें मौजूदा ऑक्ट्राय वसूली पर बिलकुल असर नहीं डालेंगी। यह आरोप लगते रहे हैं लागत से कई गुना पैसे वसूली हो जाने का बाद भी ऑक्ट्राय ठेकेदारों को अबाधित वसूली के अनुमति दी जाती रही है।
केंद्र सरकार के नियमों को दरकिनार करते हुए मामूली अंतरों पर भी ऑक्ट्राय बूथ बनाकर वसूली की जा रही है। इस पर उपाय करते हुए राज्य सरकार ने आश्वासन दिया है कि आगे से एक ही सड़क पर 45 किलोमीटर के अंतर पर ही टोल नाके बनाए जा सकेंगे। अलग-अलग सड़के होने पर भी न्यूनतम अंतर 20 किलोमीटर से कम नहीं होगा।
कूपन, मासिक पास की दरों और टोल नाके से पांच किलोमीटर की दूरी में रहने वालों को टोल से छूट संबंधी नियमावली भी घोषित की गई है। एसटी बसों, ऐबुलैंसों, शव वाहिनियों आदि को ऑक्ट्राय से छूट देने की भी बात कही गई है।
 

Friday, July 4, 2014

मुंबई में मॉनसून दस्तक दे चुका

मुंबई में मॉनसून दस्तक दे चुका हैं। बारिश के साथ ही, शुरू हुआ फ्लाइट्स के लेट होने और यात्रियों के घंटों इंतजार का सिलसिला। बारिश के चलते जहां एयरपोर्ट की दृश्यता प्रभावित हुई हैं, वही ऑपरेशन में भी दिक्कतें पेश आने लगी हैं। एयर ट्रैफिक कंट्रोल से जुड़े सूत्रों के मुताबिक डीजीसीए के मैन्युअल ट्रैकिंग के आदेश के चलते मुसीबत और भी बढ़ गई हैं।
गौरतलब है कि डीजीसीए ने बीते दिनों सभी कंट्रोल सेंटरों को लैंडिंग और टेक ऑफ के दौरान फ्लाइट की गतिविधियों पर निगाह रखने का आदेश दिया था। मुंबई के इस नवनिर्मित एटीसी टावर की ऊंचाई 83.4 मीटर हैं। इसके सेवा में आने के बाद यह पहली बार बारिश से रूबरू हो रहा हैं, ऐसे में यहां कंट्रोलर मैन्युअल ट्रैकिंग को बहुत बड़ी दिक्कत मान रहे हैं
कंट्रोल टीम से जुड़े एक सूत्र ने एनबीटी को बताया कि नए टावर की कंट्रोल कैबिन चाइना कांच की हैं, जिस पर थोड़ी सी बरसात से भी पानी के कण जमा हो जाते हैं, जिसके लैंडिंग के दौरान सूक्ष्मतम पक्षों पर ध्यान देना संभव नहीं रहता। रात्रि और सुबह में यह दिक्कत और भी बदतर हो जाती है। वही एक अधिकारी टावर की ऊंचाई को भी समस्या मानते हैं। इस अधिकारी के बकौल 'इतने ऊपर से धुंधले कांच से आसमान में मंडरा रही फ्लाइट की सही स्थिति समझ नहीं आ पाती।'
एयरपोर्ट की एक दीवार बुधवार को टूट गई। वाकया दोपहर 3 बजे जरीमरी क्षेत्र का हैं। दीवार को आनन फानन में कंटीली तार लगा कर ठीक किया गया। दीवार के टूटने से 20 मिनट तक रनवे को बंद रखा गया। बारिश के चलते उत्पन्न हुई न्यून दृश्यता के चलते जहां 8 उड़ाने डायवर्ट की गई, वहीं 4 फ्लाइट्स को गो अराउंड और 4 फ्लाइट्स को वेटिंग में रखा गया।

Tuesday, July 1, 2014

यहां थूकना मना है'

यहां थूकना मना है' यह चेतावनी पढ़ने के बाद भी अगर आपको उसी जगह पर थूकने की आदत है, तो यह आपको मुसीबत में डाल सकती है। राज्य स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग जल्द ही सार्वजनिक स्थानों, शिक्षण संस्थाओं, सभी स्वास्थ्य केंद्र और अस्पताल आदि पर तंबाकू, पान, गुटखा आदि का सेवन पूरी तरह निषिद्ध घोषित करने वाली है।
सिगरेट ऐंड अदर टोबैको प्रोडक्ट ऐक्ट (सीओटीपीए) के तहत सार्वजनिक स्थानों पर धूम्रपान करना बैन है, लेकिन तंबाकू सेवन आदि की बढ़ती प्रवृति रोकने के लिए महाराष्ट्र इसे भी सार्वजनिक स्थानों पर बैन करने की मंशा से यह नया कदम उठा रही है।

गौरतलब है कि हाल ही में वर्ल्ड नो टोबैको डे (31 मई) पर बीएमसी ने अपने सभी अस्पतालों में 'नो टोबैको जोन' की घोषण की थी। ऐसा करने वाली बीएमसी देश की पहली महानगर पालिका बन गई है। राज्य स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग की मुख्य सचिव, सुजाता सौनिक ने सोमवार को एक कार्यशाला के तहत 'इकोनॉमिक बर्डन ऑफ टोबैको रिलेटैड डिजीज इन इंडिया' नामक रिपोर्ट के मुख्य अंश प्रस्तुत किए।
सुजाता सौनिक ने बताया कि हमने सभी संबंधित विभागों को इस विषय पर पत्र लिख दिया है और जल्द ही इसका सरकारी अध्यादेश निकाकर इसे कानूनी रूप दिया जाएगा। सुजाता का कहना है कि हम कोशिश करेंगे कि अगस्त तक यह कानून बन जाए और पूरे राज्य में इसका पालन हो। इस नए नियम के बाद सार्वजनिक स्थानों पर थूकना, तंबाकू-पान, गुटखा आदि का सेवन करना पूरी तरह बैन हो जाएगा।
सलाम बॉम्बे फाउंडेशन की तरफ से आयोजित इस कार्यशाला में आए टाटा अस्पताल के कैंसर स्पेशलिस्ट, डॉ़ पंकज चतुर्वेदी का कहना है कि तंबाकू पदार्थों के सार्वजनिक स्थानों पर रोक लगने के साथ ही यह जरूरी है कि इनपर लगे टैक्स की मात्रा तीन गुना बढ़ा दी जाए। इससे तंबाकू पदार्थों की खपत में कमी आएगी। डॉ़ पंकज का कहना है कि कैंसर से जूझ रहे 30 प्रतिशत मामलों में मरीजों की उम्र 30 साल से कम है।
महाराष्ट्र सरकार हर वर्ष 2,290 करोड़ रुपये तंबाकू से होने वाली बीमारियों पर खर्च करती है। ग्लोबल एडल्ट टोबैको सर्वे इंडिया के अनुसार महाराष्ट्र में 31 प्रतिशत व्यस्क (15 वर्ष या उससे अधिक) तंबाकू का सेवन करते हैं। इनमें 7 प्रतिशत व्यस्क धूम्रपान करते हैं, जबकि 25 प्रतिशत लोग धूम्रपानरहित तंबाकू का सेवन करते हैं। इस कार्यशाला में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के साथ महाराष्ट्र फूड ऐंड ड्रग अडमिनिस्ट्रेशन के कमिश्नर महेश झगड़े, हेलिस फाउंडेशन के डायरेक्टर, डॉ़ पीसी गुप्ता आदि ने हिस्सा लिया।