स्कूल सर्टिफिकेटों पर जाति के उल्लेख को लेकरमहाराष्ट्र के सर्वोच्च दलित नेता आपस में भिड़ गए हैं।बाबासाहेब आंबेडकर ने नाती प्रकाश आंबेडकर ने स्कूलसर्टिफिकेटों पर ' जाति ' हटाने की मांग रखी है। उन्होंनेराष्ट्रीय आइडेंटिटी मजबूत करने के लिए अनुसूचित जाति वजनजाति के लिए संसद और विधानसभाओं में आरक्षण खत्मकरने का भी सुझाव दिया है। आरपीआई नेता रामदासआठवले ने इन सुझावों को ' नासमझी ' और ' दलित - विरोधी' बताते हुए इन पर कड़ा विरोध दर्ज किया है।
आंबेडकर की राय है कि स्कूल के सर्टिफिकेटों पर सिर्फ ' धर्म ' और ' राष्ट्रीयता ' का जिक्र होना चाहिए। आज केयुग में कई लोग जाति का उल्लेख टालना चाहते हैं। आठवले ने कहा है कि ऐसा होने पर अनुसूचित जाति वजनजाति के स्टूडेंट्स स्कूल - कॉलेजों में आरक्षण के लाभ से वंचित रह जाएंगे। वहीं , आबंडकर ने संसद के चुनावमें आरक्षण खत्म करने की मांग करते हुए सिर्फ स्थानीय निकाय के चुनाव में अनुसूचित जाति - जनजाति के लिएआरक्षण रखने की मांग की है। आठवले ने इसका विरोध करते हुए कहा है कि आरक्षण खत्म होने पर एक भीदलित नेता संसद का चुनाव नहीं जीत पाएगा।
आंबेडकर की राय है कि स्कूल के सर्टिफिकेटों पर सिर्फ ' धर्म ' और ' राष्ट्रीयता ' का जिक्र होना चाहिए। आज केयुग में कई लोग जाति का उल्लेख टालना चाहते हैं। आठवले ने कहा है कि ऐसा होने पर अनुसूचित जाति वजनजाति के स्टूडेंट्स स्कूल - कॉलेजों में आरक्षण के लाभ से वंचित रह जाएंगे। वहीं , आबंडकर ने संसद के चुनावमें आरक्षण खत्म करने की मांग करते हुए सिर्फ स्थानीय निकाय के चुनाव में अनुसूचित जाति - जनजाति के लिएआरक्षण रखने की मांग की है। आठवले ने इसका विरोध करते हुए कहा है कि आरक्षण खत्म होने पर एक भीदलित नेता संसद का चुनाव नहीं जीत पाएगा।
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